मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल सरकार की सवेंदनशील पहल का लाभ दूरस्थ वनांचलों के ग्रामीणों को पेंशन, मनरेगा श्रमिको, किसान सम्मान निधि और गोधन न्याय योजना के खाताधारकों सहित विभिन योजनाओं का लाभ मिल रहा है। दरअसल लॉकडाउन की स्थिति में ही दूरस्थ वनांचल सुकमा जिले में बीसी एवं सखी दीदीयों ने घर-घर जाकर अप्रैल माह से अब तक 55 लाख 35 हजार 920 रुपये का ट्रांजेक्शन किया है। कोरोना की दूसरी खौफनाक लहर ने जहां शहरी एवं ग्रामीण लोगों के जीवन को बेहद प्रभावित किया है। बीसी सखी व पे प्वाइंट सखी ने दूरस्थ क्षेत्रों में जहां लोगों की पहुंच बैंको से दूर है उन क्षेत्रों के ग्रामीणों को शासन की योजनाओं जैसे प्रधानमंत्री आवास, बीमा सुरक्षा योजना, किसान सम्मान निधि, गोधन न्याय योजना आदि से जुड़ने के लिए बैंक खाते खोलने, पेंशन का आहरण करने, मनरेगा के श्रमिकों को भुगतान पाने के लिए घर पहुंच सेवा उपलब्ध कराती है।
राज्य सरकार ग्रामीण अंचलों के पेंशन धारियों बुजुर्गों, महिलाओं को किसी भी तरह भुगतान में समस्या ना हो इसके लिए जिला पंचायत के माध्यम से बीसी एवं सखी दीदीयों द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में घर-घर जाकर बैंकिग सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही है। बीसी एवं पे प्वाइंट सखी दीदियां कोविड 19 के दिशा-निर्देशों का पालन करते हुए सुदूर क्षेत्रों के ग्रामीणों को उनकी पेंशन और श्रम भुगतान जैसी सुविधाएं घर पर ही उपलब्ध करा रहीं हैं। कोरोना काल के इन कठिन हालातों में भी बीसी सखी एवं पे प्वाइंट सखी दीदियों ने हार नहीं मानी परिणाम स्वरूप सुकमा जिले में बैंक बीसी सखी एवं पे प्वाइंट सखी दीदीयों ने लॉकडॉउन के दौरान अप्रैल माह से आज तक की स्थिति में 1891 ट्रांजेक्शन कर 55 लाख 35 हजार रूपये तक की राशि का लेन-देन किया है।
लॉकडाउन के दौरान आवागमन में आई बाधा से परेशान ग्रामीणों को अब बैंक सखियों के सहायता से काफी राहत मिली है। बैंक खातों में जमा होने वाली पेंशन की रकम निकालने के लिए बैंक जाने में उन्हें काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता था। बुजुर्ग पेंशनरों की इस समस्या का समाधान बनकर आईं बैंक सखियां, जिन्होंने इन पेंशनरों के घरों तक पहुंचकर पेंशन की राशि का भुगतान किया। इन बैंक सखियों द्वारा बैंक की सुविधा ग्राम स्तर पर मुहैय्या कराने से मनरेगा के मजदूरों को भी बड़ी राहत मिली। बैंक सखी महिला स्व-सहायता समूह की सदस्य होती है। बैंक सखियों को बैंकिंग कार्यों के लिए प्रशिक्षित किया जाता है। जिनके द्वारा पेंशनरों को उनके पेंशन का भुगतान घर पर ही जाकर किया जा रहा है। इस तरह भुगतान होने से पेंशनरों को बैंक जाकर पैसा निकालने की समस्या से निजात मिल रही है।
इस दौरान कोरोना वायरस से बचने के लिए फिजिकल डिस्टेंसिंग का पालन किया जा रहा है। साथ ही मुंह पर मास्क और लेनदेन की प्रक्रिया के पहले और बाद में अच्छे से हाथों को सैनिटाइज भी कर रही हैं। इसके साथ ही वे ग्रामीणों को मास्क, सेनिटाईजर के उपयोग, बार-बार साबुन से हाथ धोने एवं फिजिकल डिस्टेंसिंग का पालन करने के लिए जागरूक कर रही है। इस प्रकार बैंक सखी भी कोरोना संक्रमण के रोकथाम एवं नियंत्रण में सहयोग प्रदान कर रहीं
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- "जय जोहार" आशा करती हूँ हमारा प्रयास "गोंडवाना एक्सप्रेस" आदिवासी समाज के विकास और विश्व प्रचार-प्रसार में क्रांति लाएगा, इंटरनेट के माध्यम से अमेरिका, यूरोप आदि देशो के लोग और हमारे भारत की नवनीतम खबरे, हमारे खान-पान, लोक नृत्य-गीत, कला और संस्कृति आदि के बारे में जानेगे और भारत की विभन्न जगहों के साथ साथ आदिवासी अंचलो का भी प्रवास करने अवश्य आएंगे।
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