दिनांक : 16-Mar-2024 12:07 PM
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ग्राफ्टेड बैगन, टमाटर से कमा रहे कुंवर सिंह लाखों का मुनाफा

ग्राफ्टेड बैगन, टमाटर से कमा रहे कुंवर सिंह लाखों का मुनाफा

Chhattisgarh, Janjgir Champa, Vishesh Lekh
परम्परागत धान की खेती करने वाले कुंवर सिंह मधुकर ने कभी नहीं सोचा था कि वह कभी उन्नतशील किसान की श्रेणी में एक दिन खड़े हो सकेंगे, लेकिन जब से वह उद्यानिकी विभाग की राष्ट्रीय कृषि विकास योजना से जुड़े उनके जीवन में बदलाव आना शुरू हो गया और वह भी दिन आया जब उनके कार्य की प्रशंसा पूरे प्रदेश में होने लगी। उनके कार्यों का फल उन्हें मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने छत्तीसगढ़ युवा प्रगतिशील किसान के रूप में सम्मानित करते हुए किया। इसके साथ ही उन्हें इंडियन काउंसिल ऑफ एग्रीकल्चर रिसर्च के माध्यम से लखपति कृषक बनने पर पुरस्कृत किया गया। जांजगीर-चांपा जिले के पामगढ़ विकासखण्ड की ग्राम पंचायत बारगांव में रहने वाले कुंवर सिंह मधुकर है, जो खेती किसानी करके अपने एवं परिवार का पालन पोषण कर जीवन यापन कर रहे थे। एक दिन उनको उद्यानिकी विभाग की संचालित योजनाओं के बारे में जानकारी मिली। विभागीय योजनाओं...
बागबाहरा: सरकार से नहीं मिली कोई मदद तो किसान ने की आत्महत्या

बागबाहरा: सरकार से नहीं मिली कोई मदद तो किसान ने की आत्महत्या

Chhattisgarh, Mahasamund
बागबाहरा ब्लॉक के छुईहा गांव निवासी कन्हैया लाल सिन्हा (65) पुत्र बिसाहू सिन्हा ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। मृतक के पास एक सुसाइड नोट मिला है। मौके पर पहुंची तेंदूकोना थाना पुलिस ने शव का पोस्मार्टम कराने के बाद उसे परिजनों को सौंप दिया है। इधर, किसान की आत्महत्या करने की खबर के बाद प्रशासनिक अमले में हड़कंप मच गया है। मृतक के पास से मिले सुसाइड नोट में लिखा है कि 'मैं एक छोटा सा किसान हूं, खेती किसानी में पिछले 8-9 वर्षो से कभी पानी, कभी कीट प्रकोप से नुकसान हो रहा है। मुझे हर साल घाटा हो रहा है। इस वर्ष लो वोल्टेज के कारण चार एकड़ रबी फसल बर्बाद हो गई है। मुझे एक भी पैसा नहीं मिला और न ही शासन से कोई मदद मिली। पैसे की काफी तकलीफ हो रही है। मुझे न तो बीमा का लाभ मिला और न ही दो लाख की छूट मिली। अत: मेरे पास कोई चारा नहीं बचा और मेरे चारों ओर अंधकार हो गया है'। सुसाइड नोट को जब्त कर ...
डॉ. खूबचंद बघेल कृषक रत्न पुरस्कार के लिए करें आवेदन, जानें पात्रता

डॉ. खूबचंद बघेल कृषक रत्न पुरस्कार के लिए करें आवेदन, जानें पात्रता

Chhattisgarh, Raipur
डॉ. खूबचंद बघेल कृषक रत्न पुरस्कार के लिए 31 जुलाई 2023 तक आवेदन आमंत्रित किये गये हैं. इच्छुक कृषक अपने विकासखण्ड के वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी के कार्यालय में उक्त तिथि तक आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं। राज्य स्तर पर उत्कृष्ट किसान का चयन किया जाएगा। राज्य सरकार के कृषि विभाग की ओर से उन्हें दो लाख रुपये की राशि और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जाएगा। उप निदेशक कृषि जे टोप्पो ने पात्रता आदि के बारे में बताया कि आवेदक छत्तीसगढ़ का मूल निवासी होना चाहिए। वह पिछले 10 साल से खेती कर रहा हो। उनकी कुल आय में से 75 प्रतिशत आय कृषि से होनी चाहिए। तकाबी, सिंचाई शुल्क और सहकारी बैंकों का कोई बकाया कर्ज नहीं होना चाहिए। किसानों के चयन एवं मूल्यांकन के मानदंड के बारे में बताया गया कि फसल विविधिकरण के लिए नई तकनीक को अपनाने का स्तर एवं उत्पादकता में वृद्धि तथा अन्य किसानों को अपनाने के लिए किए गए प...
रायगढ़ : हरियाली से खुशहाली: 500 एकड़ में वृहत वृक्षारोपण

रायगढ़ : हरियाली से खुशहाली: 500 एकड़ में वृहत वृक्षारोपण

Chhattisgarh, Raigarh
कलेक्टर श्री तारन प्रकाश सिन्हा की बड़ी पहल, तैयारियों में जुटे विभाग इस मानसून में पेड़ लगाने के साथ उसे जीवित रखने का लक्ष्य लेकर चलेगा अभियान चार ब्लॉक में जापानी मियाबाकी तकनीक से बनेंगे ऑक्सीजोन वृक्षमाला योजना से 12.5 एकड़ नदी तट पर भी लगेंगे पौधे फलदार और मिश्रित पौधों का होगा रोपण रायगढ़, 30 अप्रैल 2023 जिले में वृक्षारोपण को बढ़ावा देने कलेक्टर श्री तारन प्रकाश सिन्हा के पहल पर पेड़ लगाने के साथ उसे जीवित रखने का लक्ष्य लेकर इस मानसून एक वृहत अभियान शुरू होने जा रहा है। जिसमें करीब 500 एकड़ क्षेत्रफल में पौधे रोपे जायेंगे। इसके लिए सभी संबंधित विभागों ने तैयारी शुरू कर दी है। कलेक्टर श्री सिन्हा ने जिले में अपनी पदस्थापना के बाद से ही इस प्रोजेक्ट पर काम शुरू कर दिया था। इससे जुड़े सभी विभागों की बैठक लेकर उन्होंने एक इंटीग्रेटेड कार्ययोजना बनाने के निर्देश दिए थे। समय-...
कांकेर: सीताराम को मिल रही है सौर ऊर्जा से मछली पालन एवं सब्जी की खेती में सुविधा

कांकेर: सीताराम को मिल रही है सौर ऊर्जा से मछली पालन एवं सब्जी की खेती में सुविधा

Chhattisgarh, Kanker
जिले के पहुंचविहीन एवं अविद्युतीकृत क्षेत्रों में सौर सुजला योजना के माध्यम से सिंचाई की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। सैकड़ों किसान अपने खेतों में सौर ऊर्जा से सोलर पंप लगाकर खेंतों की सिंचाई कर रहे है। सौर ऊर्जा से पंप चनले से किसानों को विद्युत विभाग के चक्कर लगाने तथा लो वोल्टेज की समस्या से राहत मिल रही है और बार-बार बिजली गुल जैसी समस्या तथा भारी भरकम बिजली बिलों से छुटकारा मिल रहा है। दुर्गूकोंदल विकासखण्ड के ग्राम सुरूंगदोह के किसान सीताराम ने बताया कि उनकी खेत पहाड़ी क्षेत्र में होने के कारण विद्युत लाईन पहुंच पाना असंभव था, जिस पर वह सिंचाई सुविधा के अभाव में सिर्फ वर्शा आधारित खेती करते थे। जब उन्हे सौर सुजला योजना के बारे में जानकारी मिली तो अपने जमीन पर तीन हार्स पावर के सोलर पंप स्थापित कर लिया, उसके बाद अपने खेत में मक्का उत्पादन कर रहे है साथ ही मछली पालन, सब्जी की खेती कर र...
मनरेगा से बनी डबरी, अब लहलहा रही फसल

मनरेगा से बनी डबरी, अब लहलहा रही फसल

Bilaspur, Chhattisgarh
जिले में महात्मा गांधी नरेगा के कार्यो से ग्रामीण क्षेत्रों में सकारात्मक बदलाव आ रहे हैं। विगत चार बरस में सरकार द्वारा लोगों की बेहतरी के लिए जा रहे प्रयासों की बदौलत ग्रामीणों की दशा और दिशा बदल गयी है। अब न केवल उन्हें रोजगार मिल रहा है बल्कि उनके जीवन स्तर में भी सुधार आया है। इसी कड़ी में मनरेगा योजना (महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना) के तहत हितग्राहियों के बाड़ी में डबरी और कुंआ बनाया जा रहा है। बाड़ी में डबरी और कुंआ बन जाने से किसानों की सिंचाई जैसी समस्या का समाधान हो जा रहा है। जनपद पंचायत तखतपुर के ग्राम पंचायत राजपुर के किसान श्री लाला राम उन्हीं हितग्राहियों में से है जिन्हें इस योजना का लाभ मिला है। श्री लालाराम की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी। उनके पास लगभग एक एकड़ जमीन थी। अब वहां डबरी बन जाने से उनकी सिंचाई के लिए पानी की चिंता दूर हो गई हैं। डबरी में पा...
शासकीय योजना की लाभ से किसान को मिला ट्रेक्टर और ट्राली

शासकीय योजना की लाभ से किसान को मिला ट्रेक्टर और ट्राली

Chhattisgarh, Jagdalpur
शासन द्वारा अंतिम व्यक्ति तक लाभ पहुंचाने के लिए विभिन्न हितग्राहीमूलक योजनाओं का संचालन करती है। जागरूक हितग्राही शासकीय योजनाओं का लाभ लेकर अपना आर्थिक विकास कर रहे है इन्ही जागरूक हितग्राही में से एक भीमा राम पोडियामी भी है। जो शासकीय योजना का लाभ लेकर ट्रेक्टर, ट्राली और कृषि उपकरण प्राप्त किया है। भीमा पोडियामी बस्तर जिले के दरभा तहसील अंतर्गत अत्यंत संवेदनीशील क्षेत्र ग्राम मुण्डागढ़ के निवासी है। भीमा ने बताया कि ऋण लेने से पूर्व वे कृषि कार्य करते थे, खेती कार्य बैलों के द्वारा करना पड़ता था, जिस वजह से फसल उगाने में देरी एवं दिक्कतों का सामना करना पडता था, समय पर ट्रेक्टर ट्राली उपलब्ध ना होने के कारण कृषि कार्य में विलम्ब होता था। साथ ही कृषि कार्य में ट्रेक्टर ट्राली के अभाव में कृषि लागत भी ज्यादा लगता था। उन्होंने बताया कि एक दिन जिला अंत्यावसायी से लाभान्वित हितग्राही एवं सामा...
किसानों को बिना ब्याज के लाख की खेती के लिए मिलेगा ऋण

किसानों को बिना ब्याज के लाख की खेती के लिए मिलेगा ऋण

Chhattisgarh, Dantewada
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के निर्देश के अनुरूप छत्तीसगढ़ में राज्य सरकार द्वारा किसानों को लाख की खेती के लिए प्रोत्साहित करने और उनकी आय में वृद्धि हेतु विशेष पहल की जा रही है। इसके परिपालन में छत्तीसगढ़ राज्य लघु वनोपज संघ द्वारा बीहन लाख आपूर्ति तथा बीहन लाख विक्रय और लाख फसल ऋण की उपलब्धता के लिए मदद सहित आवश्यक व्यवस्था की गई है। राज्य में वर्तमान में 4 हजार टन लाख का उत्पादन होता है, जिसका अनुमानित मूल्य राशि 100 करोड़ रूपए है। राज्य में लाख उत्पादन को 10 हजार टन तक बढ़ाते हुए 250 करोड़ रूपए की आय कृषकों को देने का लक्ष्य है। राज्य में बीहन लाख की कमी को दूर करने हेतु कृषकों के पास उपलब्ध बीहन लाख को उचित मूल्य पर क्रय करने के लिए क्रय दर का निर्धारण किया गया है। इसके तहत कुसुमी बीहन लाख (बेर वृक्ष से प्राप्त) के लिए कृषकों को देय क्रय दर 550 रूपए प्रति किलो ग्राम तथा रंगीनी बीहन लाख...
विशेष लेख : सूक्ष्म पोषक तत्वों विटामिन ठ 12, फोलिक एसिड और आयरन से भरपूर है फोर्टिफाइड चावल

विशेष लेख : सूक्ष्म पोषक तत्वों विटामिन ठ 12, फोलिक एसिड और आयरन से भरपूर है फोर्टिफाइड चावल

Chhattisgarh, Vishesh Lekh
कुपोषण से लड़ने में फोर्टिफाइड चावल बहुत उपयोगी....इसके सेवन से बच्चों में बेहतर पोषण और स्वास्थ्य हो रहा सुनिश्चित छत्तीसगढ़ में मध्याह्न भोजन में फोर्टिफाइड चावल का हो रहा वितरण ♦ विशेष लेख- नितिन शर्मा, सहायक संचालक प्रत्येक माता-पिता की ख्वाइश होती है कि उनके बच्चे स्वस्थ्य रहें। लेकिन उनकी चिंता तब बढ़ जाती है जब बच्चे खाने-पीने में आनाकानी करते हैं। इससे बच्चों के शरीर में पोषक तत्वों की कमी होने लगती है और उनकी वृद्धि प्रभावित होती है। इसके साथ कुछ बच्चे जन्म से ही कुपोषित होते हैं। बच्चों का बेहतर स्वास्थ्य और सुपोषण स्तर बना रहे इसके लिये मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के निर्देश पर मध्याह्न भोजन में फोर्टिफाइड चावल का वितरण शुरू किया गया है। फोर्टिफाइड चावल वितरण की शुरूआत कोण्डागांव जिले से हुई थी। फोर्टिफाईड चावल क्या होता है..ये कैसे बनाया जाता है और बच्चों के लिये ये कैसे उपयो...
महासमुंद, बालोद, कोरबा, कांकेर में की जा रही है पॉम की खेती, छत्तीसगढ़ में हो रहा लोकप्रिय

महासमुंद, बालोद, कोरबा, कांकेर में की जा रही है पॉम की खेती, छत्तीसगढ़ में हो रहा लोकप्रिय

Durg, Kanker, Korba, Mahasamund
इंडोनेशिया और मलेशिया में पॉम की खेती बड़े पैमाने पर की जाती है। इससे प्राप्त होने वाला पॉम ऑयल खाद्य तेलों के रूप में इस्तेमाल किया जाता ...