मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा है कि महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज की कल्पना के अनुरूप ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूत करने के साथ ही खेती-किसानी को लाभकारी बनाने और युवाओं को रोजगार से जोड़ने की पहल से गांव-गांव में आर्थिक तरक्की का रास्ता खुल रहा है। हमने महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज के रास्ते को अपना कर छत्तीसगढ़ को आर्थिक मॉडल बनाया।
राजनांदगांव जिले के ग्राम अर्जुनी में आयोजित भेंट-मुलाकात कार्यक्रम में ग्रामीणों से चर्चा के दौरान मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार ने गौठानों में रूरल इण्डस्ट्रियल पार्क के जरिए युवाओं को रोजगार उद्यम से जोड़ने की दिशा में बड़ा कदम उठाया है। राज्य में 300 नए रीपा तैयार किए जा रहे हैं। रीपा में गांव के युवाओं को गांव में ही रोजगार के अवसर मिलेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 9500 गौठानों के साथ हम छत्तीसगढ़ की पुरानी परंपरा को जीवित रखने का प्रयास कर रहे हैं। गौठानों से गांवों में आर्थिक विकास के लिए नये अवसर पैदा हो रहा है। किसानों को खेती-किसानी के लिए बेहतर माहौल के साथ ही पशुधन संरक्षण और संवर्धन के अलावा बड़ी संख्या में यहां ग्रामीण रोजगारमूलक गतिविधियों से जुड़ रहे हैं। आज किसान वर्मी कंपोस्ट के माध्यम से रसायन रहित खेती कर शुद्ध और जैविक फसल की प्राप्ति कर रहा है, जिससे उसका परिवार स्वस्थ जीवन जीएगा, शासन की योजनाओं से पशुधन भी सुरक्षित है। गौठान मॉडल के इन वर्मी कंपोस्ट खाद रूपी फैक्ट्री से आने वाले 2-4 सालों में आप देखेंगे कि छत्तीसगढ़ राज्य को डीएपी या अन्य रासायनिक खादों और कीटनाशकों की जरूरत पड़ेगी ही नहीं।
हमने महात्मा गांधी जी के स्वावलंबन के रास्ते को अपनाकर ऐसा इको सिस्टम तैयार किया है जो समावेशी विकास को सार्थक करता है। स्वामी आत्मानंद इंग्लिश मीडियम स्कूल के माध्यम से आज बच्चे फर्राटेदार इंग्लिश बोल रहे हैं। अपनी माटी से उनका जुड़ाव बना रहे इसके लिए सप्ताह में एक दिन छत्तीसगढ़ी भाषा का पाठ भी पढ़ाया जा रहा है। इसके साथ ही शासन की योजनाओं के क्रियान्वयन संबंध में आए हुए ग्रामीण जनों से फीडबैक लिया और उनकी समस्याओं का समाधान भी किया।
Author Profile
- "जय जोहार" आशा करती हूँ हमारा प्रयास "गोंडवाना एक्सप्रेस" आदिवासी समाज के विकास और विश्व प्रचार-प्रसार में क्रांति लाएगा, इंटरनेट के माध्यम से अमेरिका, यूरोप आदि देशो के लोग और हमारे भारत की नवनीतम खबरे, हमारे खान-पान, लोक नृत्य-गीत, कला और संस्कृति आदि के बारे में जानेगे और भारत की विभन्न जगहों के साथ साथ आदिवासी अंचलो का भी प्रवास करने अवश्य आएंगे।
Latest entries
- Chhattisgarh24/04/2024कोण्डागांव: पारम्परिक वार्षिक मेले में पहुंचे देवी देवता, रीति-रिवाज से की गई पूजा अर्चना
- Ambikapur24/04/2024आतंकवादियों और हिंसा फैलाने वालों के लिए आंसू बहाने वाली कांग्रेस खो चुकी है भरोसा : पीएम मोदी
- Chhattisgarh24/04/2024बेमेतरा में अमित शाह की जनसभा, 26 अप्रैल को फिर आ रहे छत्तीसगढ़
- Ambikapur24/04/2024अंबिकापुर में बोले पीएम मोदी: आपकी संपत्ति पर है कांग्रेस की नजर